Sunday 22 January 2017

गर नहीं तुम...




गर नहीं तुम साथ तो क्या जिंदगी नहीं...,
तेरी आमद से पहले भी तो जीते थे हम...!

गर नहीं तुम साथ तो क्या जिंदगी नहीं...,
क्यों पल पल तड़पे हम,फिर क्यों पल पल तरसे...!

जिंदगी तो जिंदगी है,चलती ही जानी हैं...,
गर नहीं तुम साथ तो क्या जिंदगी नहीं...!

नहीं जो तुम संग तो वक़्त ना रुका ना रुकेगा...,
गर नहीं तुम साथ तो क्या जिंदगी नहीं...!

जो हम ना होंगे तो भी वक़्त ना थमेगा...,
गर नहीं तुम साथ तो क्या जिंदगी नहीं...!!!



दीप 

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